जबलपुर से पचमढ़ी तक की यात्रा - Pachmarhi darshan | Pachmarhi Travel | Pachmarhi yatra
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हांडी खोह |
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बेगम पैलेस |
जबलपुर से पचमढ़ी जाने के दो माध्यम है। एक माध्यम है ट्रेन के द्वारा और दूसरा माध्यम है सड़क के द्वारा। आप ट्रेन के द्वारा पचमढ़ी पहुंच सकते हैं। जबलपुर से पचमढ़ी के लिए बहुत सारी ट्रेनें चलती हैं। जबलपुर से करीब 2 से 3 घंटे में आप पचमढ़ी पहुॅच सकते हैं। अगर आप 1 दिन की यात्रा का प्लान बनाकर पचमढ़ी घूमने जा रहे है, तो आप जबलपुर से सुबह की ट्रेन ले सकते है। जबलपुर से पचमढ़ी के लिए सुबह के समय बहुत सारी ट्रेनें चलती है। आप ट्रेन के टिकट ऑनलाइन भी बुक कर सकते हैं। मगर आप स्टेशन में सही समय पर पहुंच जाइए। 5:30 बजे जबलपुर स्टेशन से ट्रेन मिल जाती हैं। यह ट्रेन मदन महल स्टेशन में भी आपको मिल जाएगी, तो आप मदन महल स्टेशन से ट्रेन पकड़ सकते हैं। जबलपुर से पचमढ़ी में पड़ने वाले स्टेशन है - भेड़ाघाट, भिटौनी, विक्रमपुर, श्रीधाम, बेलखेड़ा, नरसिंहपुर, करेली, गाडरवारा, बोहनी, सालीचौका, बनखेड़ी । इन रेलवे स्टेशनों में आपकी ट्रेन रुकती है, उसके बाद पिपरिया रेलवे स्टेशन में आपको उतरना पड़ता है। पिपरिया से पचमढ़ी करीब 60 किलोमीटर दूर होगा। पिपरिया से पचमढ़ी आपको रोड के माध्यम से जाना पड़ता है। पिपरिया में आपको बहुत सारे साधन मिल जाते हैं, पचमढ़ी जाने के लिए। पिपरिया रेलवे स्टेशन के बाहर ही बस स्टैंड है, जहां से आप बस ले सकते हैं। अगर आप पचमढ़ी जाने के लिए 1 दिन का प्लान बना रहे हैं, तो आप जिप्सी ले सकते हैं। जिप्सी आप को पिपरिया रेलवे स्टेशन में बुक करना पड़ता है। जिप्सी वाला आपको पचमढ़ी के सभी दर्शनीय जगह घुमा देगा।
Places to visit in Pachmarhi in one day
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कैथोलिक चर्च |
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प्रियदर्शनी |
जिप्सी वाला आपको सबसे पहले बेगम पैलेस घुमाएगा, जो पचमढ़ी जाने के रास्ते में पड़ता है। बेगम पैलेस के पास आपको अंबा माई मंदिर भी देखने के लिए मिलता है। उसके बाद आप जटाशंकर मंदिर घूम सकता है। जटाशंकर मंदिर मुख्य पचमढ़ी शहर में ही स्थित है। यह मंदिर खाई में स्थित है और यहां पर आपको एक गुफा देखने के लिए मिलती है। गुफा पर 24 घंटे पानी रिसता रहता है। यहां पर एक कुंड भी बना हुआ है, जिसमें पानी भरा हुआ है। जटाशंकर की गुफा जाते समय आपको अन्य मंदिर भी देखने के लिए मिलते हैं। उसके बाद आप पांडव गुफा जा सकते हैं। पांडव गुफा में आपको पांच गुफाएं देखने के लिए मिलती है, जो पत्थर की बनी रहती है। इन गुफाओं के बारे में कहा जाता है, कि यह गुफाओं पांडवों द्वारा बनवाया गया था। इन गुफाओं में पांडव रहते थे। सभी के लिए अलग-अलग गुफाएं बनी हुई है। सबसे बड़ी गुफा में द्रोपति के रहने के लिए बनाई गई थी। पांडव गुफा के पास एक बड़ा सा गार्डन देखने के लिए मिलता है। उसके बाद आप हांडी खोह घूम सकते हैं। हांडी खोह में आपको एक खाई देखने के लिए मिलती है। यह खाई 300 फीट गहरी है और इस खाई का शेप हांडी के आकार का है। उसके बाद प्रियदर्शनी घूम सकते हैं। प्रियदर्शनी में आपको पचमढ़ी की खूबसूरत वादियां देखने के लिए मिलती हैं । उसके बाद आप बड़ा महादेव जा सकते है। बड़ा महादेव में एक गुफा है। यहां पर शिवलिंग आप देख सकते हैं। गुफा में हमेशा पानी रिसता रहता है। बड़ा महादेव के आगे आपको गुप्त महादेव देखने के लिए मिलता है। गुप्त महादेव में एक सकरी गुफा है। सकरी गुफा के अंदर शिवलिंग विराजमान है। यहां से चौरागढ़ जाने का भी रास्ता आपको देखने मिलता है। मगर आपको चौरागढ़ जाने में 1 दिन लग जाता है और इसके बाद आपके पास समय बचता है, तो आप राजेंद्र गिरी जा सकते हैं। राजेंद्र गिरी एक प्वाइंट है। यहां से आप सनसेट का बहुत ही मनोरम दृश्य देख सकते हैं। पचमढ़ी में कैथोलिक चर्च है। वह मुख्य सड़क में स्थित है। आप वहां पर भी जा सकते हैं। पचमढ़ी की मुख्य रोड पर पचमढ़ी झील है। आप इस झील को पचमढ़ी के अन्य दर्शनीय स्थलों को देखने जाते समय घूम सकते हैं। उसके बाद आप वापस घर आने के लिए ट्रेन पकड़ सकते हैं। पिपरिया रेलवे स्टेशन में आपको जबलपुर के लिए बहुत सारी ट्रेनें मिल जाते हैं। शाम को पिपरिया रेलवे स्टेशन से आप जबलपुर आ सकते हैं।
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