बक्सर जिले के दर्शनीय स्थल - Places to visit in Buxar District / बक्सर जिले के आसपास घूमने वाली प्रमुख जगह
बक्सर बिहार राज्य का एक मुख्य जिला है। बक्सर बिहार की राजधानी पटना से करीब 125 किलोमीटर दूर है। बक्सर गंगा नदी के दक्षिणी तट पर स्थित है। बक्सर जिला अपने ऐतिहासिक युद्ध को कारण प्रसिद्ध है। बक्सर जिले की मुख्य नदी गंगा, कर्मनाशा है। बक्सर जिला पुरातात्विक दृष्टि से बहुत महत्वपूर्ण है। बक्सर जिले में घूमने के लिए बहुत सारी जगह है। आप यहां पर घूमने के लिए आ सकते हैं। चलिए जानते हैं - बक्सर जिले में घूमने लायक कौन-कौन सी जगह है।
बक्सर में घूमने की जगह - Buxar Mein ghumne ki jagah
शहीद स्मारक बक्सर - Shaheed Smarak Buxar
शहीद स्मारक बक्सर में घूमने वाली एक मुख्य जगह है। शहीद स्मारक बक्सर जिले में रेलवे स्टेशन के पास में ही स्थित है। यहां पर आपको शहीद स्मारक देखने के लिए मिलता है, जो हमारे देश की रक्षा करने के लिए जान निछावर वाले करने वाले वीरों को समर्पित है। यहां पर आपको एक बड़ी सी झील देखने के लिए मिलती है। झील के बीच में शहीद स्मारक बना हुआ है। झील के बीच में टापू बना हुआ है। इस टापू में जाने के लिए पुल बना हुआ है। इस झील को कमलदह पोखर पार्क के नाम से भी जाना जाता है। यहां पर आकर अच्छा लगता है। आप यहां पर आसानी से पहुंच सकते हैं और अपना बहुत अच्छा समय बिता सकते हैं।
रामरेखा घाट बक्सर - Ramrekha Ghat Buxar
रामरेखा घाट बक्सर जिले का एक प्रमुख धार्मिक घाट है। इस घाट को लेकर एक प्राचीन पौराणिक कथा प्रचलित है। आप यहां पर आकर, वह कथा जान सकते हैं। यह घाट बहुत सुंदर है। यहां पर आपको शंकर जी का प्राचीन मंदिर देखने के लिए मिल जाता है। आप यहां पर आकर बहुत अच्छा वक्त बिता सकते हैं। आप यहां पर स्नान भी कर सकते हैं।
महादेवा घाट बक्सर - Mahadeva Ghat Buxar
महादेवा घाट बक्सर में स्थित एक प्रमुख घाट है। यह घाट बक्सर में चौसा में स्थित है। यह घाट बहुत सुंदर है। यहां पर आपको ऋषि च्यवन का आश्रम भी देखने के लिए मिलता है। यहां पर आप आकर स्नान कर सकते हैं और शांति से अपना समय बिता सकते हैं। यहां पर घाट के किनारे सीढ़ियां बनी हुई है, जहां पर आप बैठ कर इस घाट के सुंदर दृश्य को देख सकते हैं। यहां पर आपको और भी बहुत सारे मंदिर देखने के लिए मिल जाते हैं।
चौसा का युद्ध क्षेत्र बक्सर - The battle field of Chausa
चौसा का युद्ध क्षेत्र बक्सर में स्थित एक ऐतिहासिक स्थल है। इस स्थल पर, मुगल बादशाह हुमायूं और अफगान सम्राट शेरशाह सूरी के बीच में युद्ध हुआ था। यह युद्ध 25 जून 1539 ईस्वी को हुआ था। शेरशाह ने आधी रात में, बेफिक्र हिमायू की सेना पर रात्रि में आक्रमण कर दिया था, जिससे मुगल सेना इस अचानक हुए आक्रमण का सामना नहीं कर सके और युद्ध में हार गई। इस लड़ाई में हिमायू अपनी जान बचाने के लिए, गंगा नदी में कूद गया था। चौसा ग्राम का एक निजाम नामक मिस्त्री ने मशक के सहारे बादशाह हिमायू को गंगा नदी तैरकर पार कराई थी तथा हिमायू की जान बचाई थी। हिमायू ने अपने प्राण रक्षा के बदले, निजाम को दिल्ली की गद्दी पर आधे दिन के लिए ताजपोशी कर दिया था।
चौसा का युद्ध क्षेत्र बक्सर शहर से करीब 10 किलोमीटर दूर चौसा ग्राम में स्थित है। आप यहां पर घूमने के लिए आ सकते हैं। चौसा ग्राम करमनासा नदी के पूर्वी तट पर स्थित है। यह लड़ाई भारत के इतिहास में यादगार है। इस लड़ाई में 8000 मुगल सैनिक मारे गए थे और हिमायू की प्रतिष्ठा को आघात पहुंचा। दूसरी तरफ शेरशाह सूरी के उत्थान में नीव का पत्थर साबित हुआ। आप यहां पर घूमने के लिए आ सकते हैं। अभी यहां पर स्मारक बना दिया गया है और यहां पर सुंदर गार्डन है। इस गार्डन में आपको शेरशाह सूरी मुगल, बादशाह हुमायूं, निजाम मिस्त्री की पेंटिंग देखने के लिए मिल जाती है।
बक्सर का किला बक्सर - Buxar Fort Buxar
बक्सर का किला बक्सर शहर में स्थित एक मुख्य ऐतिहासिक स्थल है। यहां पर आपको किले के अवशेष देखने के लिए मिलते हैं। किले का ज्यादातर भाग खंडहर में बदल गया है। यह किला बक्सर जिले में गंगा नदी के किनारे बना हुआ है। इस किले के आपको अब भग्नावशेष ही देखने के लिए मिलता है। आप यहां पर आकर इस ऐतिहासिक साइट को देख सकते हैं।
सीताराम उपाध्याय संग्रहालय बक्सर - Sitaram Upadhyay Museum Buxar
सीताराम उपाध्याय संग्रहालय बक्सर में स्थित एक प्रमुख घूमने वाली जगह है। यह संग्रहालय बक्सर में रामरेखा घाट की तरफ जाने वाले मार्ग पर स्थित है। यह संग्रहालय बहुत सुंदर है। संग्रहालय के अंदर आपको विभिन्न वस्तुओं का संग्रह देखने के लिए मिल जाता है। इस संग्रहालय में खुलने का समय 10:30 बजे से 4 बजे तक है। प्रत्येक सोमवार को संग्रहालय बंद रहता है।
सीताराम उपाध्याय संग्रहालय के बाहर आपको सुंदर गार्डन देखने के लिए मिलता है। इस संग्रहालय में आपको विभिन्न प्राचीन वस्तुओं का संग्रह देखने के लिए मिल जाता है। यहां पर आपको बहुत सारी जानकारियां भी मिलती है। इस संग्रहालय में आपको मूर्तियों का संग्रह देखने के लिए मिलता है, जो बहुत सुंदर लगता है। इस संग्रहालय की स्थापना 1979 में की गई है। इस संग्रहालय में प्रवेश के लिए शुल्क लिया जाता है। आप यहां पर आकर घूम सकते हैं।
नौलखा मंदिर बक्सर - Naulakha Temple Buxar
नौलखा मंदिर बक्सर जिले का एक मुख्य मंदिर है। यह एक धार्मिक स्थल है। यह मंदिर विष्णु भगवान जी और लक्ष्मी माता को समर्पित है। मंदिर में आपको बहुत सारे देवी देवताओं के दर्शन करने के लिए मिलते हैं। यह मंदिर बहुत ही सुंदरता से बनाया हुआ है। मंदिर का मुख्य प्रवेश द्वार साउथ इंडियन स्टाइल में बना हुआ है।
यहां पर मंदिर में आकर, आपको तिरुपति बालाजी, गरुड़ भगवान, शंकर जी, नंदी भगवान और भी बहुत सारे देवी देवताओं के दर्शन करने के लिए मिल जाते हैं। मंदिर में आपको बहुत सारी पेंटिंग और मूर्तियों के माध्यम से बहुत सारी पौराणिक कथाओं के बारे में बताने की कोशिश की गई है। आप यहां पर घूमने के लिए आ सकते हैं। आपको बहुत अच्छा लगेगा और शांति मिलेगी।
गौरी शंकर मंदिर बक्सर - Gauri Shankar Temple Buxar
गौरी शंकर मंदिर बक्सर जिले का एक प्रमुख धार्मिक स्थल है। यह मंदिर शिव भगवान जी को समर्पित है। मंदिर में आपको शिव भगवान जी और पार्वती माता जी की प्रतिमाएं देखने के लिए मिलती है। मंदिर में नंदी भगवान जी की प्रतिमा भी विराजमान है। यह मंदिर बहुत सुंदर है और बक्सर जिले में प्रसिद्ध है। यहां पर बहुत सारे भक्त भगवान शिव के दर्शन करने के लिए आते हैं। मंदिर के सामने एक तालाब भी बना हुआ है। यह बक्सर में घूमने लायक जगह है और आप यहां पर आकर बहुत अच्छा अनुभव कर सकते है।
राजा भोज का किला बक्सर - Raja Bhoj Fort Buxar
राजा भोज का किला बक्सर का एक ऐतिहासिक स्थल है। यह किला खंडहर अवस्था में देखने के लिए मिलता है। यह किला पूरी तरह से जर्जर हो चुका है। किले के अवशेष ही देखने लायक है। यह किला परमार वंश के राजा, राजा भोज के द्वारा बनाया गया था। राजा भोज का किला बक्सर जिले के डुमराव प्रखंड के नया भोजपुर गांव में स्थित है। आप यहां पर आसानी से पहुंच सकते हैं और इस किले के अवशेषों को देख सकते हैं।
कतकौली का मैदान (बक्सर युद्ध स्थल) बक्सर - Ground of Katkauli (Battle site Buxar) Buxar
बक्सर का युद्ध इतिहास में एक महत्वपूर्ण घटना है। बक्सर का युद्ध बक्सर जिले में कतकौली के मैदान में हुआ था। यह जगह एक ऐतिहासिक धरोहर है। बक्सर का युद्ध 23 अक्टूबर 1764 ईस्वी को कतकौली मैदान में हुआ था। यह युद्ध ब्रिटिश शासन और मुगल सम्राटों के बीच हुआ था। इस मैदान पर बक्सर की लड़ाई हेकर मुनरो के नेतृत्व में ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी की सेना और अवध के नवाब शुजाउददला, मुगल सम्राट शाह आलम और मीर कासिम की सेना के बीच लड़ी गई थी।
इस लड़ाई में मुगल शासकों की हार हुई थी और बंगाल, उड़ीसा और बिहार में अंग्रेजों का शासन हो गया था। इस युद्ध क्षेत्र पर अंग्रेजों ने एक स्मारक भी बनाया था, जिसे बाद में नष्ट कर दिया गया था। अभी इस क्षेत्र को संरक्षित किया गया है और यहां पर सुंदर गार्डन बनाया गया है और स्मारक का निर्माण किया गया है। आप यहां पर घूमने के लिए आ सकते हैं। यह बक्सर के सबसे अच्छी जगहों में से एक है। यहां पर आकर अच्छा लगता है।
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